डिजिटल मीडिया पर शिकंजा कसने की तैयारी, संसद में उठी मांग – क्या दब जाएगा सच?

संसद में भाजपा सांसद दिलीप सखिया ने डिजिटल मीडिया पर शिकंजा कसने की मांग उठाई। उन्होंने इसे झूठ फैलाने वाला बताते हुए नियमन की जरूरत बताई। दूसरी ओर, विपक्षी दलों ने इसे मीडिया पर सरकारी नियंत्रण की कोशिश बताया। इस बीच, राज्यसभा में रेलवे से जुड़े मुद्दों पर भी तीखी बहस हुई।

Mar 13, 2025 - 18:39
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डिजिटल मीडिया पर शिकंजा कसने की तैयारी, संसद में उठी मांग – क्या दब जाएगा सच?

INDC Network : नई दिल्ली, भारत : डिजिटल मीडिया पर सरकार की नजर – संसद में उठी शिकंजा कसने की मांग


डिजिटल मीडिया, जो अब तक सत्ता के दावों की पोल खोलने का सबसे बड़ा माध्यम बन चुका है, अब सरकार की निगाहों में आ चुका है। संसद में भाजपा सांसद दिलीप सखिया ने डिजिटल मीडिया को झूठ फैलाने वाला बताते हुए उस पर कड़ी निगरानी की मांग कर दी है। उन्होंने कहा कि ऑनलाइन पोर्टल्स और डिजिटल न्यूज चैनल बिना किसी विश्वसनीयता के खबरें फैला रहे हैं, जिससे समाज में भ्रम की स्थिति पैदा हो रही है।


क्या है भाजपा सांसद दिलीप सखिया की मांग?

भाजपा सांसद ने संसद में कहा:

  1. डिजिटल मीडिया पर कोई नियंत्रण नहीं है, जिससे अफवाहें फैलती हैं।

  2. कई न्यूज पोर्टल्स बिना प्रमाणित जानकारी के खबरें प्रकाशित कर रहे हैं।

  3. ब्लैकमेलिंग और झूठी खबरें फैलाने के कई मामले सामने आए हैं।

  4. डिजिटल मीडिया को नियंत्रित करने के लिए नया कानून जरूरी है।


डिजिटल मीडिया पर शिकंजा क्यों?

डिजिटल मीडिया के स्वतंत्र होने की वजह से सरकार के लिए इसे नियंत्रित करना मुश्किल हो रहा है।

कुछ प्रमुख घटनाएं जिनमें डिजिटल मीडिया ने सरकार को घेरा:

घटना डिजिटल मीडिया की भूमिका
हाथरस कांड जबरन अंतिम संस्कार की रिपोर्टिंग
कुंभ मेला कोविड में मौतें उजागर की
रेलवे दुर्घटनाएँ कर्मचारियों की कमी को उजागर किया

भाजपा सरकार का क्या है रुख?

सरकार पहले भी डिजिटल मीडिया पर नियंत्रण के लिए कई प्रयास कर चुकी है। ब्रॉडकास्ट बिल लाया गया था, लेकिन उसे लागू नहीं किया जा सका। अब फिर से इस मुद्दे पर बहस छेड़ी गई है।


विपक्ष ने क्यों किया विरोध?

विपक्षी दलों ने इसे प्रेस की आजादी पर हमला बताया। आम आदमी पार्टी के सांसद संजय सिंह ने रेलवे की खराब स्थिति पर सरकार को घेरा और कहा कि सरकार हर क्षेत्र में विफल हो रही है। उन्होंने रेलवे में 3 लाख खाली पदों का मुद्दा उठाते हुए पूछा कि इतनी बड़ी संख्या में भर्ती रोकने से दुर्घटनाएं क्यों न हों?


रेलवे की स्थिति पर संसद में बहस

रेलवे से जुड़ी कई समस्याओं को लेकर संसद में तीखी बहस हुई। आरजेडी सांसद संजय यादव ने कहा कि लालू यादव के समय रेलवे मुनाफे में था, लेकिन अब स्थिति बिगड़ गई है। उन्होंने कहा:

  1. रेलवे में कर्मचारियों की भारी कमी है।

  2. इंफ्रास्ट्रक्चर को अपडेट नहीं किया गया।

  3. हाई-स्पीड ट्रेनों के लिए पटरियों की हालत खराब है।


शिक्षा और फ्री राशन पर भी बहस

भाजपा सांसद लता वानखेड़े ने छात्रों के पलायन का मुद्दा उठाया और कहा कि उच्च शिक्षा के लिए छोटे शहरों में भी बड़े संस्थान खुलने चाहिए। वहीं, विपक्ष ने फ्री राशन और ई-श्रम पोर्टल से जुड़े सवाल उठाए।


क्या वाकई डिजिटल मीडिया पर सरकार नियंत्रण चाहती है?

डिजिटल मीडिया का प्रभाव लगातार बढ़ रहा है और यह गोदी मीडिया की तरह सरकार के समर्थन में काम नहीं करता। यही वजह है कि सरकार इसे नियंत्रित करने की कोशिश में लगी है। सवाल यह उठता है कि क्या यह डिजिटल मीडिया को नियंत्रित करने की साजिश है, या फिर झूठी खबरों को रोकने का एक प्रयास?

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Arpit Shakya Hello! My Name is Arpit Shakya from Farrukhabad (Uttar Pradesh), India. I am 18 years old. I have been working for INDC Network news company for the last 3 years. I am the founder and editor in chief of this company.