2025 में भारत में गर्मी और मौसम: रिकॉर्ड तोड़ने वाली तपिश की आशंका
पिछला साल 2024 भारत में 1901 के बाद का सबसे गर्म साल रहा, भारत में साल 2025 की गर्मी पिछले सभी रिकॉर्ड तोड़ने के लिए तैयार है। उत्तर भारत, विशेष रूप से दिल्ली-एनसीआर, राजस्थान, गुजरात, पंजाब, हरियाणा, और उत्तर प्रदेश जैसे राज्यों में अप्रैल के पहले सप्ताह से ही तापमान 40 डिग्री सेल्सियस को पार कर गया है।

INDC Network : नई दिल्ली, भारत : भारत में साल 2025 की गर्मी पिछले सभी रिकॉर्ड तोड़ने के लिए तैयार है। भारतीय मौसम विज्ञान विभाग (IMD) और अन्य विशेषज्ञों की भविष्यवाणियों के अनुसार, इस साल मार्च से जून तक देश के अधिकांश हिस्सों में भीषण गर्मी और लू की स्थिति बनी रहेगी। ग्लोबल वॉर्मिंग और समुद्री जल के बढ़ते तापमान के कारण अप्रैल की शुरुआत से ही उत्तर भारत में लू ने दस्तक दे दी है, और यह स्थिति मई-जून में और गंभीर होने की आशंका है।
अप्रैल में ही 40 डिग्री के पार तापमान
उत्तर भारत, विशेष रूप से दिल्ली-एनसीआर, राजस्थान, गुजरात, पंजाब, हरियाणा, और उत्तर प्रदेश जैसे राज्यों में अप्रैल के पहले सप्ताह से ही तापमान 40 डिग्री सेल्सियस को पार कर गया है। दिल्ली में इस सीजन में पहली बार 7 अप्रैल को लू दर्ज की गई, जो पिछले 14 वर्षों में सबसे जल्दी आई लू थी। मौसम वैज्ञानिकों का कहना है कि इस साल लू के दिन सामान्य से दोगुने हो सकते हैं, और 10 से 12 दिनों तक लगातार लू चलने की संभावना है। राजस्थान के बाड़मेर में तापमान 45.4 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच चुका है, जो देश में सबसे गर्म स्थान रहा।
2024 का रिकॉर्ड टूटने की आशंका
पिछला साल 2024 भारत में 1901 के बाद का सबसे गर्म साल रहा, जिसमें औसत न्यूनतम तापमान सामान्य से 0.90 डिग्री सेल्सियस अधिक था। हालांकि, 2025 की शुरुआत ने संकेत दिए हैं कि यह साल पिछले सभी रिकॉर्ड तोड़ सकता है। IMD के महानिदेशक मृत्युंजय महापात्र ने बताया कि ग्लोबल वार्मिंग के कारण वैश्विक तापमान में वृद्धि हो रही है, जिसका असर भारत में भीषण गर्मी और लू की घटनाओं के रूप में दिखाई दे रहा है।
किन क्षेत्रों में होगा सबसे ज्यादा असर?
IMD के अनुसार, उत्तर और पश्चिम भारत के राज्य जैसे हरियाणा, पंजाब, राजस्थान, हिमाचल प्रदेश, जम्मू-कश्मीर, उत्तराखंड, और दिल्ली में लू के दिनों की संख्या में भारी वृद्धि होगी। मध्य भारत के कुछ हिस्सों, जैसे मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़, में भी गर्मी का असर देखने को मिलेगा। दक्षिण भारत में तमिलनाडु और आंध्र प्रदेश जैसे राज्यों में बारिश की संभावना है, लेकिन तापमान सामान्य से अधिक रहेगा।
राहत की उम्मीद कब?
मौसम विभाग ने बताया कि अप्रैल के अंत तक उत्तर-पश्चिम भारत में पश्चिमी विक्षोभ के कारण कुछ क्षेत्रों में आंधी और हल्की बारिश हो सकती है, जो तापमान में थोड़ी कमी ला सकती है। हालांकि, मई और जून में स्थिति और गंभीर होने की आशंका है। मानसून के आगमन, जो आमतौर पर जून के मध्य में होता है, से पहले देश के अधिकांश हिस्सों में गर्मी से राहत की उम्मीद कम है।
सरकार और जनता के लिए सलाह
केंद्र और राज्य सरकारों ने गर्मी से बचाव के लिए कई उपाय शुरू किए हैं। दिल्ली सचिवालय में हीट एक्शन प्लान को लेकर बैठकें हो रही हैं, और तेलंगाना सरकार ने लू से मृत्यु होने पर परिवारों को 4 लाख रुपये की सहायता राशि देने की घोषणा की है। विशेषज्ञों ने लोगों को सलाह दी है कि वे दोपहर के समय घर से बाहर निकलने से बचें, पर्याप्त पानी पिएं, और हल्के रंग के कपड़े पहनें।
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