दिल्ली में भाजपा की सत्ता में वापसी के संकेत! क्या एक्जिट पोल फिर से गलत साबित होंगे?
दिल्ली विधानसभा चुनाव के एक्जिट पोल में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की सत्ता में वापसी के संकेत मिले हैं। आम आदमी पार्टी (आप) को दूसरे स्थान पर दिखाया गया है, जबकि कांग्रेस को करारी हार का सामना करना पड़ सकता है। हालांकि, आप ने इन पूर्वानुमानों को खारिज कर दिया है और अपने पक्ष में नतीजे आने का दावा किया है।

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दिल्ली चुनाव के एक्जिट पोल: भाजपा की सत्ता में वापसी के संकेत
दिल्ली विधानसभा चुनावों के बाद आए एक्जिट पोल भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के लिए अच्छी खबर ला सकते हैं। एक्जिट पोल के नतीजों में आम आदमी पार्टी (आप) को सत्ता से बाहर दिखाया गया है, जबकि कांग्रेस को एक बार फिर बड़ी हार मिलने की संभावना जताई गई है।

क्या फिर गलत साबित होंगे एक्जिट पोल?
हालांकि, एक्जिट पोल कई बार गलत साबित हुए हैं। 2020 में भी अधिकतर एक्जिट पोल आम आदमी पार्टी की पूर्ण बहुमत से जीत का अंदाजा नहीं लगा सके थे। इस बार भी आम आदमी पार्टी ने इन अनुमानों को खारिज करते हुए अपनी जीत का दावा किया है।
आप का दावा: फिर से बनाएंगे सरकार
आप नेता सुशील गुप्ता ने समाचार एजेंसी एएनआई से बातचीत में कहा,
"यह हमारा चौथा चुनाव है और हर बार एक्जिट पोल ने हमें सरकार बनाते हुए नहीं दिखाया। अरविंद केजरीवाल ने दिल्ली की जनता के लिए काम किया है और हम फिर से सरकार बनाएंगे।"
आप प्रवक्ता ने एनडीटीवी से कहा कि नतीजों के दिन पार्टी भारी बहुमत के साथ वापसी करेगी।
कौन किस पायदान पर? एक्जिट पोल के आंकड़े
मुख्य एक्जिट पोल एजेंसियों के अनुसार संभावित सीटें इस प्रकार हैं:
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Chanakya Strategies: भाजपा – 39-44, आप – 25-28, कांग्रेस – 0-3
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DV Research: भाजपा – 36-44, आप – 26-34, कांग्रेस – 0
भाजपा की रणनीति: 25 साल बाद वापसी की उम्मीद
भाजपा दिल्ली की सत्ता में 1998 के बाद से वापसी की कोशिश कर रही है। पिछले तीन चुनावों में उसे आम आदमी पार्टी के हाथों हार का सामना करना पड़ा। लेकिन इस बार एक्जिट पोल पार्टी के लिए अच्छी खबर लाए हैं।
आप की चुनौतियाँ और उम्मीदें
आम आदमी पार्टी 2015 और 2020 में बड़ी जीत दर्ज कर चुकी है। पार्टी के नेता मानते हैं कि जनता उनके द्वारा किए गए विकास कार्यों पर भरोसा जताएगी। शिक्षा, स्वास्थ्य और बिजली-पानी की योजनाओं के आधार पर वह फिर से सरकार बनाने का दावा कर रही है।
कांग्रेस: अस्तित्व की लड़ाई
कभी दिल्ली की राजनीति में अहम भूमिका निभाने वाली कांग्रेस इस बार भी पिछड़ती दिख रही है। पिछले चुनावों में भी पार्टी को कोई बड़ी सफलता नहीं मिली थी।
वोटिंग प्रतिशत में गिरावट
दिल्ली में इस बार मतदान प्रतिशत में गिरावट देखी गई। 2020 के विधानसभा चुनाव में मतदान प्रतिशत 62.82% था, जो 2015 के 67.47% के मुकाबले 4.65% कम था।
अंतिम फैसला: 11 फरवरी को नतीजे
अब सबकी निगाहें 11 फरवरी के नतीजों पर टिकी हैं। क्या भाजपा सच में सत्ता में वापसी करेगी, या फिर एक्जिट पोल गलत साबित होंगे और आप चौथी बार सरकार बनाएगी? इसका जवाब जल्द ही मिलेगा।
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