गंगा स्नान बना मातम: मथुरा से आए किशोर की डूबने से मौत, तीसरे दिन मिला शव

मथुरा से गंगा स्नान करने बदायूं के कछला घाट पहुंचे परिवार की खुशियां उस वक्त मातम में बदल गईं, जब 16 वर्षीय किशोर कार्तिक उर्फ मयंक गंगा में डूब गया। तीन दिनों तक चले रेस्क्यू ऑपरेशन के बाद SDRF की टीम ने सोमवार को उसका शव बरामद किया। परिवार ने पोस्टमॉर्टम कराने से इनकार कर दिया है।

Apr 7, 2025 - 19:59
May 15, 2025 - 18:10
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गंगा स्नान बना मातम: मथुरा से आए किशोर की डूबने से मौत, तीसरे दिन मिला शव

INDC Network : बदायूं, उत्तर प्रदेश : उत्तर प्रदेश के बदायूं जिले के कछला गंगा घाट पर एक दिल दहला देने वाला हादसा सामने आया है। मथुरा के थाना छटीकरा क्षेत्र से अपने परिवार के साथ गंगा स्नान करने आए 16 वर्षीय कार्तिक उर्फ मयंक की गंगा में डूबने से मौत हो गई। स्नान के दौरान वह अचानक गहरे पानी में चला गया और डूब गया। तीसरे दिन SDRF की टीम ने उसका शव बरामद किया, जिससे घाट पर मौजूद परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल हो गया।

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स्नान के दौरान हादसा, एक बचा, दूसरा डूबा

यह हादसा शनिवार को उस वक्त हुआ जब नीतू शर्मा अपने दो बेटों कार्तिक और तारया, बेटी तान्या, मौसेरी बहन और जेठ के बेटे गर्ग के साथ कछला घाट पहुंची थीं। स्नान करते समय कार्तिक और गर्ग दोनों गहरे पानी में फंस गए। घाट पर मौजूद स्थानीय गोताखोरों ने तुरंत एक्शन लिया और गर्ग को तो बचा लिया, लेकिन कार्तिक का कोई पता नहीं चला।

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तीन दिन चला रेस्क्यू, SDRF ने निकाला शव

शनिवार शाम तक स्थानीय गोताखोरों ने खोजबीन जारी रखी, लेकिन सफलता नहीं मिली। इसके बाद रविवार को बरेली से SDRF की विशेष टीम को बुलाया गया। टीम ने रविवार और सोमवार को लगातार प्रयास करते हुए तीसरे दिन कार्तिक का शव गंगा से बरामद किया। शव मिलते ही घाट पर चीख-पुकार मच गई।


परिजनों ने पोस्टमॉर्टम से किया इनकार

कार्तिक की पहचान होते ही शव को पुलिस के हवाले किया गया, लेकिन परिजनों ने पोस्टमॉर्टम कराने से साफ इनकार कर दिया। परिवार वालों ने शव को अंतिम संस्कार के लिए ले जाने की अनुमति मांगी, जिसे पुलिस ने मान लिया।


खुशियों भरे सफर ने ले लिया दुखद मोड़

यह यात्रा एक सामान्य धार्मिक स्नान के लिए शुरू हुई थी, लेकिन परिवार के लिए यह गंगा स्नान कभी न भूलने वाली त्रासदी में बदल गया। इस घटना ने घाट की सुरक्षा व्यवस्थाओं पर भी सवाल खड़े कर दिए हैं। स्थानीय प्रशासन और SDRF की तत्परता के बावजूद, तीन दिन तक शव का न मिलना दुखद और चिंताजनक है।

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Arpit Shakya नमस्कार! मैं अर्पित शाक्य, INDC Network का मुख्य संपादक हूँ। मेरा उद्देश्य सूचनाओं को जिम्मेदारी और निष्पक्षता के साथ आप तक पहुँचाना है। INDC Network पर मैं स्थानीय, राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय खबरों को आपकी भाषा में सरल, तथ्यपरक और विश्वसनीय रूप में प्रस्तुत करता/करती हूँ। पत्रकारिता के क्षेत्र में मेरा विश्वास है कि हर खबर का सच सामने आना चाहिए, और यही सोच मुझे जनहित से जुड़ी खबरों की तह तक जाने के लिए प्रेरित करती है। चाहे वह गाँव की आवाज़ हो या देश की बड़ी हलचल – मेरा प्रयास रहता है कि आपके सवालों को मंच मिले और जवाब मिलें। मैंने INDC Network को एक ऐसे डिजिटल मंच के रूप में तैयार किया है, जहाँ लोकल मुद्दों से लेकर ग्लोबल घटनाओं तक हर आवाज़ को जगह मिलती है। यहाँ मेरी प्रोफ़ाइल के माध्यम से आप मेरे द्वारा लिखे गए समाचार, लेख, इंटरव्यू और रिपोर्ट्स पढ़ सकते हैं।